कोडगॠया कà¥à¤°à¥à¤—  करà¥à¤£à¤¾à¤Ÿà¤• पà¥à¤°à¤¾à¤¨à¥à¤¤ का à¤à¤• जिला है। इसका मà¥à¤–à¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ मडिकेरी में है। पशà¥à¤šà¤¿à¤®à¥€ घाट पर सà¥à¤¥à¤¿à¤¤ पहाड़ों और घाटियों का पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ कà¥à¤°à¥à¤— दकà¥à¤·à¤¿à¤£ à¤à¤¾à¤°à¤¤ का à¤à¤• पà¥à¤°à¤®à¥à¤– परà¥à¤¯à¤Ÿà¤• सà¥â€à¤¥à¤² है। यह खूबसूरत परà¥à¤µà¤¤à¥€à¤¯ सà¥â€à¤¥à¤² समà¥à¤¦à¥à¤° तल से 1525 मीटर की ऊंचाई पर है। यहां की यातà¥à¤°à¤¾ à¤à¤• न à¤à¥‚लने वाला अनà¥à¤à¤µ है। कà¥à¤°à¥à¤— के पहाड़, हरे-à¤à¤°à¥‡ जंगल, चाय और कॉफी के बागान मन को लà¥à¤à¤¾à¤¤à¥‡ हैं। कावेरी नदी का उदगम सà¥â€à¤¥à¤¾à¤¨ कà¥à¤°à¥à¤— अपनी पà¥à¤°à¤¾à¤•ृतिक खूबसूरती के अलावा रिवर राफà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग, हाइकिंग, कà¥à¤°à¥‰à¤¸ कंटà¥à¤°à¥€ और टà¥à¤°à¥‡à¤²à¥â€à¤¸ के लिठà¤à¥€ मशहूर है।
बेटी अंकिता की बंगलौर पोसà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग के बाद अकà¥à¤¸à¤° वो कà¥à¤°à¥à¤— चलने को कहती थी तो इस वरà¥à¤·à¤¾ ऋतू में वही जाने का पà¥à¤²à¤¾à¤¨ किया। साथ में पà¥à¤£à¥‡ से बेटे बहॠअंशà¥à¤² और सà¥à¤µà¤¾à¤¤à¤¿ को à¤à¥€ बà¥à¤²à¤¾ लिया।
गणेश चतà¥à¤°à¥à¤¥à¥€ की सà¥à¤¬à¤¹ 7 बजे गणपति बपà¥à¤ªà¤¾ मोरिया के साथ टवेरा से यातà¥à¤°à¤¾ पà¥à¤°à¤¾à¤°à¤‚ठकी।
यातà¥à¤°à¤¾ का आरमà¥à¤
रासà¥à¤¤à¥‡ में à¤à¤• जगह लंच लेते हà¥à¤ लगà¤à¤— डेॠबजे कूरà¥à¤— जिले के à¤à¤• टाउन कà¥à¤¶à¤²à¤¨à¤—र पहà¥à¤šà¥‡ जहा palm era रिसोरà¥à¤Ÿ में बà¥à¤•िंग थी। चेक इन के पशà¥à¤šà¤¾à¤¤ रिवर राफà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग का पà¥à¤°à¥‹à¤—à¥à¤°à¤¾à¤® था।
कावेरी नदी पे राफà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग-
रिसोरà¥à¤Ÿ से लगà¤à¤— 10 किमी दूर दà¥à¤¬à¤¾à¤°à¥‡ नामक सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पे राफà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग केंदà¥à¤° था।600/-पà¥à¤°à¤¤à¤¿ वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ टिकट था जिसमे 7 किमी नदी पर राफà¥à¤Ÿà¤¿à¤‚ग शामिल थी। वरà¥à¤·à¤¾ काल में नदिया वैसे ही रोदà¥à¤° रूप दिखाती है उसपर तेज़ बहाव में राफà¥à¤Ÿ पर। आशंकित से लाइफ जैकेट पहन के सबको à¤à¤• à¤à¤• चपà¥à¤ªà¥‚ पकड़ा दिया। साथ में काफी सारे निरà¥à¤¦à¥‡à¤¶ à¤à¥€à¥¤
हम सब राफà¥à¤Ÿ में
खैर à¤à¤• उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ à¤à¥€ था और रोमांच का अहसास à¤à¥€à¥¤ राफà¥à¤Ÿ में बैठकर तेज बहाव में शà¥à¤°à¥‚ के कà¥à¤› कà¥à¤·à¤£ घबराहट हà¥à¤ˆ जरूर पर लाइफ जैकेट ने à¤à¤¾à¤°à¥€ हिमà¥à¤®à¤¤ दे दी थी। हमारे गाइड ने बताया की नदी में शाकाहारी मगरमचà¥à¤› है इसलिठडरे नही। सà¥à¤¨à¤•र हंसी आ गयी। आगे बà¥à¤¤à¥‡ रहे चपà¥à¤ªà¥‚ चलाते हà¥à¤.
इन 7 किमी में 4 से 5 रैपिडà¥à¤¸ थे पर बहà¥à¤¤ खतरनाक नही थे।
निरà¥à¤¦à¥‡à¤¶à¥‹à¤‚ का पालन करते हà¥à¤ 2 रैपिडà¥à¤¸ पार किये और अपà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤® आनंद का सà¥à¤µà¤¾à¤¦ लिया।
रैपिडà¥à¤¸ पर
पूरे à¤à¥€à¤— गये थे पर अब सब के अनà¥à¤¦à¤° का बचà¥à¤šà¤¾ जाग चूका था। साथ में चल रहे दà¥à¤¸à¤°à¥‡ राफà¥à¤Ÿ के लोगो से रेस का मजा लेते हà¥à¤ à¤à¤• जगह पहà¥à¤šà¥‡ जहा पानी में बहाव तो था पर सà¥à¤¥à¤¿à¤°à¤¤à¤¾ à¤à¥€ थी।
इस जगह राफà¥à¤Ÿ रोककर सब को नदी में उतर के फà¥à¤°à¥€ फà¥à¤²à¥‹ के साथ बहते रहना था। जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ नही आता तैरना उनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ छोड़ à¤à¥€ दिया जाठतब à¤à¥€ जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ आता है वो à¤à¥€ डर गये थे। पर धीरे धीरे सà¤à¥€ राफà¥à¤Ÿ के लोग नदी में कूदने लगे थे।तब बेटा और बेटी ने सबसे पहले हिमà¥à¤®à¤¤ करते हà¥à¤ जमà¥à¤ª लगा दी। फिर तो हम तीनो à¤à¥€ नदी में कूद गये।
नदी के साथ बहते
लगà¤à¤— आधा घंटा नदी के बहाव के साथ बहते रहे फिर राफà¥à¤Ÿ पर आना ही पड़ा कà¥à¤¯à¥‹à¤•ि अगला रैपिड आगे ही था। ये पिछले से अधिक तेज था और ढलान à¤à¥€ जà¥à¤¯à¤¾à¤¦à¤¾ थी।जितना तेज उतना रोमांचक।à¤à¤• के बाद à¤à¤• आगे बà¥à¤¤à¥‡ हà¥à¤ अंतिम रैपिड जो की सबसे जà¥à¤¯à¤¾à¤¦à¤¾ तेज़ और सबसे जà¥à¤¯à¤¾à¤¦à¤¾ ढलान वाला था वहा से नीचे गिरे पूरे à¤à¥€à¤—े तà¤à¥€ गाइड बोला की अब इसपे उलटी तरफ यातà¥à¤°à¤¾ करनी है याने ढलान से ऊंचाई की और। सोच कर ही जान सूख गयी। लगा आज तो डूबना निशà¥à¤šà¤¿à¤¤ है। खैर हिमà¥à¤®à¤¤ की और जोर से चपà¥à¤ªà¥‚ चलाते हà¥à¤ ऊपर की और बॠचले(हमें कम से कम à¤à¤¸à¤¾ ही लगा)ऊपर तो कà¥à¤¯à¤¾ ख़ाक बà¥à¤¤à¥‡ हम किनà¥à¤¤à¥ इस पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ में 3/4 बार राफà¥à¤Ÿ जरूर डूबी साथ में हम à¤à¥€ डूबते उतराते रहे और यही इस खेल का मà¥à¤–à¥à¤¯ उदà¥à¤¯à¥‡à¤¶à¥à¤¯ था और अतà¥à¤²à¤¨à¥€à¤¯ आकरà¥à¤·à¤£ à¤à¥€à¥¤(ये बाद में समठआया)
अंततः 7 किमी ख़तà¥à¤® हà¥à¤ और मायूस से सब लोग नदी छोड़ बाहर आये à¤à¤• अविसà¥à¤®à¤°à¤£à¥€à¤¯ अपà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤® अनà¥à¤à¤µ के साथ।
लगà¤à¤— 3 घंटे पानी में रहते हà¥à¤ à¤à¥€ ठणà¥à¤¡ का अहसास नही हà¥à¤† अब बाहर आ के ठणà¥à¤¡ à¤à¥€ लगने लगी थी।
à¤à¤Ÿà¤ªà¤Ÿ रिसोरà¥à¤Ÿ लौटे ।हाथ पैर कमर पीठसब थकान से à¤à¤°à¥‡ थे। लंच के बाद सोने चल पड़े आजकी यादों को समेटे हà¥à¤à¥¤
दूसरा दिन
आज का दिन कà¥à¤°à¥à¤— के मà¥à¤–à¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ मडिकेरी à¤à¥à¤°à¤®à¤£ का था। सà¥à¤¬à¤¹ बà¥à¤°à¥‡à¤•फासà¥à¤Ÿ करके निकले जो लगà¤à¤— 45 किमी दूर था। हरा à¤à¤°à¤¾ बेहद खà¥à¤¬à¤¸à¥‚रत घà¥à¤®à¤¾à¤µà¤¦à¤¾à¤° रासà¥à¤¤à¤¾ मन को मोह रहा था। साथ में बारिश की फà¥à¤¹à¤¾à¤°à¥‡ कà¤à¥€ हलà¥à¤•ी तो कà¤à¥€ तेज़।
मदिकेरी को दकà¥à¤·à¤¿à¤£ का सà¥à¤•ॉटलैंड कहा जाता है। यहां की धà¥à¤‚धली पहाड़ियां, हरे वन, कॉफी के बगान और पà¥à¤°à¤•ृति के खूबसूरत दृशà¥à¤¯ मदिकेरी को अविसà¥à¤®à¤°à¤£à¥€à¤¯ परà¥à¤¯à¤Ÿà¤¨ सà¥à¤¥à¤² बनाते हैं।
थोड़ी à¤à¥€à¤¡à¤à¤¾à¤¡ वाले टाउन से आगे राजा की सीट नामक सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पे पहà¥à¤šà¥‡ तो तेज़ बारिश शà¥à¤°à¥‚ हो चà¥à¤•ी थी। तेज़ हवा छातों को उड़ा रही थी।
यह वह सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ है जहां से कà¥à¤°à¥à¤— के राजा ढलते सूरà¥à¤¯ को देखते थे। यहां से दूर-दूर फैले हर धान के खेतों, घाटियों, à¤à¥‚रे-नीले घाटों के दृशà¥à¤¯ दिखाई दिà¤à¥¤
à¤à¤• उदà¥à¤¯à¤¾à¤¨ à¤à¥€ है जहा परà¥à¤¯à¤Ÿà¤•ों के लिठछोटी सी टà¥à¤°à¥‡à¤¨ चलती है।
लगà¤à¤— घंटे à¤à¤° बाद यहाठसे निकले अबà¥à¤¬à¥‡ वाटर फालà¥à¤¸ देखने।
यह खूबसूरत जलपà¥à¤°à¤ªà¤¾à¤¤ मदिकेरी से लगà¤à¤— 5 किलोमीटर की दूरी पर है। à¤à¤• निजी कॉफी बागान के à¤à¥€à¤¤à¤° यह à¤à¤°à¤¨à¤¾ सà¥à¤¥à¤¿à¤¤ है। पहà¥à¤š के देखा परà¥à¤¯à¤Ÿà¤• à¤à¤¾à¤°à¥€ संखà¥à¤¯à¤¾ में आये थे। कही पारà¥à¤•िंग की जगह नही थी।
लगà¤à¤— 1 किमी पहले ही उतर कर पैदल जाना पड़ा। किनà¥à¤¤à¥ à¤à¤• कà¥à¤·à¤£ को à¤à¥€ à¤à¤¸à¤¾ नही लगा की वà¥à¤¯à¤°à¥à¤¥ आये।कहते है मॉनसून के दिनों में यहां की सà¥à¤‚दरता लाजवाब होती है और ये सही लगा देख के। पूरी तेजी से गिरता दà¥à¤®à¤‚जिला à¤à¤°à¤¨à¤¾ अपनी पूरी रफ़à¥à¤¤à¤¾à¤° से नीचे गिर रहा था ।
अबà¥à¤¬à¥‡ फालà¥à¤¸
गिरती बारिश में खूब फोटो लिठगये।
हमारा आज का अगला पड़ाव था तालकावेरी जहा से कावेरी नदी का उदगम है।
अबà¥à¤¬à¥‡ फालà¥à¤¸ से निकले और मदिकेरी के à¤à¤• उडिपी रेसà¥à¤Ÿà¤¾à¤°à¥‡à¤‚ट में खूब अचà¥à¤›à¤¾ उतà¥à¤¤à¤° à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ à¤à¥‹à¤œà¤¨ लिया।(इस कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤° में सà¤à¥€ जगह उतà¥à¤¤à¤° का à¤à¥‹à¤œà¤¨ उपलबà¥à¤§ है) और गाडी में बैठकर नजारो का आनंद लेते तालकावेरी निकले किनà¥à¤¤à¥ आज के दिन पहà¥à¤šà¤¨à¤¾ शायद à¤à¤¾à¤—à¥à¤¯ में नही था। à¤à¤• अतà¥à¤¯à¤‚त यॠटरà¥à¤¨ पर à¤à¤• गडà¥à¤¢à¤¾ था जो डà¥à¤°à¤¾à¤ˆà¤µà¤° की नज़रो से चूक गया। à¤à¤• तेज़ आवाज़ के साथ गाडी के नीचे से à¤à¤• रॉड निकली और सड़क पे जा गिरी। गाडी रोककर देखा तो नीचे सपोरà¥à¤Ÿ रॉड पड़ी मिली। अब घà¥à¤®à¤¾à¤µà¤¦à¤¾à¤° ऊà¤à¤šà¥‡ नीचे रासà¥à¤¤à¥‡ पर आगे बà¥à¤¨à¤¾ संà¤à¤µ नही था।
मदिकेरी से 5 किमी आगे आ चà¥à¤•े थे। और मोटर वरà¥à¤• शॉप पीछे था। तो सब नीचे उतरे और किसी खाली गाडी का इंतज़ार करने लगे। लगà¤à¤— à¤à¤• घंटे बाद à¤à¤• ऑटो मिला जिस से मदिकेरी वापस आये। चूà¤à¤•ि इंजन में कोई समसà¥à¤¯à¤¾ नही थी तो डà¥à¤°à¤¾à¤ˆà¤µà¤° à¤à¥€ धीरे धीरे गाडी मदिकेरी तक ले आया और à¤à¤• वरà¥à¤•शॉप के हवाले गाडी की।
5 बज चà¥à¤•े थे और अà¤à¤§à¥‡à¤°à¤¾ होने लगा था।
6 बजे तक गाडी ठीक हà¥à¤ˆ और हमने वापस रिसोरà¥à¤Ÿ लौटना ही उचित समà¤à¤¾à¥¤
मायूसी जरूर थी किनà¥à¤¤à¥ पहाड़ो में इस तरह की घटनाà¤à¤‚ सामानà¥à¤¯ है à¤à¤µà¤‚ मानसिक तैयारी रहना चाहिठजिससे यातà¥à¤°à¤¾ में उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ बना रहता है।
लौट कर रिसोरà¥à¤Ÿ में ही कैरम और टेबल टेनिस खेले। डिनर कर के बिसà¥à¤¤à¤°à¥‹ के हवाले किया।
अगले दिन तालकावेरी à¤à¥€ जाना था जो की तय पà¥à¤°à¥‹à¤—à¥à¤°à¤¾à¤® के अलावा था।
तीसरा दिन
नाशà¥à¤¤à¥‡ के बाद समय का आकलन करके यह निरà¥à¤£à¤¯ लिया गया की तालकावेरी जाना संà¤à¤µ है अतः शीघà¥à¤°à¤¤à¤¾ से पेटपूजा कर निकल पड़े।
मदिकेरी से 48 किलोमीटर दूर तालकावेरी कावेरी नदी की उदगम सà¥à¤¥à¤²à¥€ है इसलिठधारà¥à¤®à¤¿à¤• दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से इसका बहà¥à¤¤ महतà¥à¤µ है। यह बà¥à¤°à¤¹à¥à¤®à¤—िरी पहाड़ के ढलान पर सà¥à¤¥à¤¿à¤¤ है। समà¥à¤¦à¥à¤° तल से इस सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ की ऊंचाई 4500 फीट है।
जैसे जैसे ऊपर की और बॠरहे थे ठंडक à¤à¥€ बढती जा रही थी। कही तेज वरà¥à¤·à¤¾ तो कही रिमà¤à¤¿à¤®à¥¤ ऊपर पहà¥à¤š कर लगा बादलो में आ गये। हर तरफ धà¥à¤¨à¥à¤¦ छाई हà¥à¤ˆà¥¤50 मीटर दूर à¤à¥€ सà¥à¤ªà¤·à¥à¤Ÿ दिखाई नही दे रहा था। अतà¥à¤¯à¤‚त रोमांटिक वातावरण था।
तालकावेरी
चपà¥à¤ªà¤²à¥‡ उतारकर उदगम सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ के दरà¥à¤¶à¤¨ लिà¤à¥¤ लोगो ने सैकड़ो हजारो की संखà¥à¤¯à¤¾ में सिकà¥à¤•े अरà¥à¤ªà¤£ किये थे जिससे कà¥à¤‚ड काफी à¤à¤° गया था।
लगà¤à¤— 300 सीढिया चà¥à¤•े ऊपर दरà¥à¤¶à¤¨à¥€à¤¯ सà¥à¤¥à¤² से समà¥à¤ªà¥‚रà¥à¤£ कà¥à¤°à¥à¤— कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤° का नजारा दीखता है किनà¥à¤¤à¥ घनी धà¥à¤‚द के कारण कà¥à¤› नही दिखा।
लगà¤à¤— 1 घंटा बिता कर वापसी की।
अगला पड़ाव गोलà¥à¤¡à¤¨ टेमà¥à¤ªà¤² रासà¥à¤¤à¥‡ में ही था। यह à¤à¤• बौदà¥à¤§ मठहै जो अतà¥à¤¯à¤‚त सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤° निरà¥à¤®à¤¿à¤¤ है।
गोलà¥à¤¡à¤¨ टेमà¥à¤ªà¤²
अब कà¥à¤°à¥à¤— à¤à¥à¤°à¤®à¤£ समापà¥à¤¤ कर के वापस बंगलौर चल पड़े। लगà¤à¤— 5 बजे मैसूर पहà¥à¤šà¥‡ सोचा पà¥à¤°à¤¸à¤¿à¤¦à¥à¤¦ वृनà¥à¤¦à¤¾à¤µà¤¨ गारà¥à¤¡à¤¨ à¤à¥€ देख लिया जाà¤à¥¤ लगà¤à¤— 2 घंटे बिताये। इस बाग के बारे में बहà¥à¤¤ अधिक जानकारी उपलबà¥à¤§ है। कावेरी पर निरà¥à¤®à¤¿à¤¤ कृषà¥à¤£à¤°à¤¾à¤œà¤¸à¤¾à¤—र डैम के दूसरी और सà¥à¤¥à¤¿à¤¤ इसका बहà¥à¤¤ नाम है à¤à¤¾à¤°à¤¤ à¤à¤° में।
वृनà¥à¤¦à¤¾à¤µà¤¨ गारà¥à¤¡à¤¨
शाम सात बजे यहाठसे निकल कर रात लगà¤à¤— 11 बजे वापस बंगलौर पहà¥à¤šà¥‡à¥¤
à¤à¤• और अविसà¥à¤®à¤°à¤£à¥€à¤¯ यातà¥à¤°à¤¾ का समापन हà¥à¤†à¥¤
अब अगली यातà¥à¤°à¤¾ विवरण के लिठफिर मिलेंगे।
तब तक के लिठविदा।